कानन पेंडारी गार्डन में बायसन की मौत, अफसरों में मचा हड़कंप, पढ़े पूरी खबर - गुरुआस्था न्यूज़

गुरुआस्था समाचार 

 बिलासपुर - कानन पेंडारी में शुक्रवार दोपहर बायसन की मौत हो गई। इस घटना की खबर मिलते ही विभाग के अफसरों में हड़कंप मच गया। आनन फानन में अधिकारी कानन पेंडारी पहुंचे। फिर पशुचिकित्सकों की टीम से बायसन के शव का पोस्टमार्टम कराया गया। प्रारंभिक जांच में बायसन के मौत के कारणों का पता नहीं चल सका है। ऐसे में विसरा सुरक्षित कर जांच के लिए जबलपुर भेजने की बात कही जा रही है। कानन पेंडारी जूलाजिकल गार्डन में रखा गया बायसन पूरी तरह से स्वस्थ था और रोज की तरह गार्डन के केज में विचरण कर रहा था।

दोपहर में कर्मचारियों ने उसे चारा दिया था। इसी बीच कर्मचारियों ने उसे तड़पते हुए देखा। कर्मचारियों ने इसकी सूचना जूलाजिकल के अधीक्षक संजय लूथर और प्रभारी परिक्षेत्राधिकारी बीएल धृतलहरे को दी। उन्होंने बायसन को देखकर अनहोनी की आशंका जताई। फिर आनन-फानन में पशु चिकित्सक को इस घटना की सूचना दी गई। जब तक पशु चिकित्सक वहां पहुंचे, तब तक बायसन की मौत हो चुकी थी। इस बीच घटना की जानकारी विभाग के आला अधिकारियों को दी गईं। खबर मिलते ही इको टूरिज्म विभाग के मुख्य वन संरक्षक एचएल रात्रे, अचानकमार बायोस्फियर रिजर्व के संचालक विष्णुराज नायर, वनमंडाधिकारी कुमार निशांत सहित अन्य अधिकारी मौके पर पहुंच गए।

अफसरों की मौजूदगी में पशुचिकित्सक डा. आरएम त्रिपाठी, डा. अनूप चटर्जी, डा. राम ओत्तलवार, जूलाजिकल गार्डन के पशु चिकित्सक डा. अजीत पांडेय व डा. स्मिता प्रसाद की टीम से बायसन के शव का पोस्टमार्टम कराया गया। प्रारंभिक जांच में बायसन की मौत के कारणों का पता नहीं चल सका है। लिहाजा, बायसन की मृत्यु का कारण जानने के लिए विसरा सुरक्षित कराया गया है, जिसे जांच के लिए जबलपुर स्थित नानाजी देशमुख वेटनरी कालेज भेजा जाएगा।

कानन में पहले भी हो चुकी है जानवरों की मौत

कानन पेंडारी स्थित जूलाजिकल गार्डन में वन्य पशुओं की संदिग्ध मौत का यह पहला मामला नहीं है। इससे पहले भी यहां कई जानवरों की मौत हो चुकी है। इसमें प्रबंधन की लापरवाही के साथ ही जानवरों के रखरखाव में खामी पाई गई थी। बायसन की मौत को भी प्रबंधन की लापरवाही से जोड़कर देखा जा रहा है।

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